ये शहर है… मेरा !कल तक जहाँ रंगीनियाँ थीं , आज ख़ामोशी है , बेचैनी है । लगता है ,दस्तक दी है फिर किसी तूफ़ान ने ,हर तरफ़ भाग दौड़ है , आज ,धर्म -जाति से परे सब साथ हैं !इस तूफ़ान से लड़ने के लिए सब तैयार !वैसे , शक्ति तो साथ में ही है । तूफ़ान तो हर बार अलग- अलग वेश में आता
कुछ चली कुछ रुकी शायदमुझसे कुछ कह रही थीवो यादो की तेज़ हवामेरे लिये ही बह रही थीमैं रोकती भी तो केसे उसेवो लहर जो दिल में उठी थीगहरी इतनी की सागर भी समा जाये तूफ़ान ऐसा कि सब उडा ले जायेमेरी आंखे जो अश्रू से भरी थी बारिश के पानी सी तेज बरसी थींबस उज़डे गुलिस्तां क
सपने बुनतीआसमान छूने केग़म में मुस्कुरातीएक आम लड़कीकुछ कहती कुछ सुनतीअपनों को खुश रखतीकभी सहम जाती तेज हवाओ सेकभी तूफ़ान से जूझतीएक आम लडकीदुनिया की भीड़ मेंअसहाय, लड़खडाई-सीउठकर गिरी, आन्सू छलकातीगिरकर उठी, ज्वाला बनतीएक आम लड़कीअमीरो जेसी शानदौलत नहीं चाहतीथोडा प्यार थोड