भारत सरकार ने कहा है कि वो
पाकिस्तानी हिंदुओं के लिए भारत की नागरिकता पाने की प्रक्रिया आसान करेगा. दक्षिण दिल्ली की संजय गांधी
कॉलोनी में रह रहे ये हिंदू परिवार पाकिस्तान के पंजाब प्रांत के रहीम यार ख़ान
जिले से आए हैं. 1 लाख़ 20 हज़ार पाकिस्तानी हिंदू भारत में रहते हैं. औसतन हर साल एक हज़ार
हिंदू पाकिस्तान से भारत आते हैं. दिल्ली में रह रहे पाकिस्तानी हिंदू शरणार्थियों को बुनियादी सुविधाओं की कमी
से जूझना पड़ रहा है. भारत सरकार ने 17 अप्रैल को घोषणा की है कि पाकिस्तान से भारत आए हिंदुओं के
लिए नागरिकता पाने की प्रक्रिया सरल बनाई जाएगी. गृह मंत्रालय के एक अधिकारी के मुताबिक प्रस्ताव में
भारत में लंबी अवधि के वीज़ा पर रह रहे पाकिस्तानी अल्पसंख्यकों के लिए ज़मीन
ख़रीदने, बैंक खाते खुलवाना और आधार नंबर पाने का प्रावधान है. प्रस्ताव के मुताबिक 18 जिलों के कलेक्टरों या
मजिस्ट्रेटों को 2 साल की अवधि के लिए ऐसे लोगों को नागरिकता देने का अधिकार दिया
जाएगा. रायपुर, अहमदाबाद, गांधीनगर, राजकोट, कच्छ, पाटन, भोपाल, इंदौर, नागपुर, मुंबई, पुणे, थाणे, पश्चिम दिल्ली, दक्षिण दिल्ली, जोधपुर, जैसलमेर, जयपुर और लखनऊ जिले
शामिल किए गए हैं. नए प्रस्ताव के तहत भारत में रह रहे पाकिस्तानी हिंदुओं को नागरिकता पाने के
आवेदन के साथ केवल सौ रुपये शुल्क देना होगा. पाकिस्तान, बांग्लादेश और अफगानिस्तान से भारत आए अल्पसंख्यक शरणार्थियों की सही संख्या
की पुख़्ता जानकारी नहीं है. आधिकारिक तौर पर अनुमान 2 लाख़ लोगों का लगाया जा रहा है जिसमें ज्यादातर
हिंदू और सिख हैं.(साभार:बीबीसी हिंदी)