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आध्यात्मिक पुस्तक- जीने की राह

आध्यात्मिक पुस्तक- जीने की राह

भूमिका जीने की राह पुस्तक घर-घर में रखने योग्य है। इसके पढ़ने तथा अमल करने से लोक तथा परलोक दोनों में सुखी रहोगे। पापों से बचोगे, घर की कलह समाप्त हो जाएगी। बहू-बेटे अपने माता-पिता की विशेष सेवा किया करेंगे। घर में परमात्मा

9 पाठक
5 रचनाएँ

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आध्यात्मिक पुस्तक- जीने की राह

भूमिका जीने की राह पुस्तक घर-घर में रखने योग्य है। इसके पढ़ने तथा अमल करने से लोक तथा परलोक दोनों में सुखी रहोगे। पापों से बचोगे, घर की कलह समाप्त हो जाएगी। बहू-बेटे अपने माता-पिता की विशेष सेवा किया करेंगे। घर में परमात्मा

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The Real Knowledge के लेख

सुख सागर की संक्षिप्त परिभाषा | जीने की राह | दूसरा अध्याय

20 अप्रैल 2022
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दूसरा अध्याय - सुख सागर की संक्षिप्त परिभाषा | जीने की राह | Writer- Sant Rampal Ji Maharaj सुख सागर अर्थात् अमर परमात्मा तथा उसकी राजधानी अमर लोक की संक्षिप्त परिभाषा बताई है:-शंखों लहर मेह

मानव जीवन की आम धारणा | जीने की राह | भाग -04

19 अप्रैल 2022
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पाठकजनों ने अभी तक आपने भाग-03 पढ़ा, अब भाग- 04 पढ़िए:- भक्ति करने की प्रेरणा संत जन देते हैं। सत्संग से जीने की राह अच्छी बनती है।कबीर परमेश्वर जी ने फिर बताया है कि:-बिन उपदेश अचम्भ है, क्

मानव जीवन की आम धारणा | जीने की राह | भाग-03

18 अप्रैल 2022
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पाठकजनों ने अभी तक भाग-02 पढ़ा, अब भाग- 03 पढ़िए:- संतान होना या ना होना यह आपके पूर्व के कर्मों का फल है। यदि संतान को धर्म-कर्म का ज्ञान नहीं है तो वह चाहे कितनी ही नेक है, कभी न कभी गलती कर ही देगी

मानव जीवन की आम धारणा | जीने की राह | भाग -2

17 अप्रैल 2022
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पाठकजनों ने अभी तक भाग-01 पढ़ा, अब भाग- 02 पढ़िए:- भविष्य के लिए कुछ नहीं किया। जिस कारण से उस व्यक्ति का मानव जीवन व्यर्थ गया। कबीर जी ने कहा है कि:- क्या मांगुँ कुछ थिर ना र

मानव जीवन की आम धारणा | जीने की राह | भाग-01

16 अप्रैल 2022
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जब तक यथार्थ आध्यात्मिक ज्ञान नहीं होता तो जन-साधारण की धारणा होती है कि:-1) बड़ा होकर पढ़-लिखकर अपने निर्वाह की खोज करके विवाह कराकर परिवार पोषण करेंगे। बच्चों को उच्च शिक्षा तक पढ़ाऐंगे। फिर उनको रोजगा

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